रांची(29.10.22): झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक और जेएसएलपीएस की संयुक्त पहल से सखी मंडल की चयनित महिलाओं को एफएलसीसी (वित्तीय साक्षरता केंद्र काउंसलर) के रूप में तैयार किया गया है। झारखंड में पहली बार झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक और जेएसएलपीएस के सहयोग से सखी मंडल के सदस्यों को एफएलसीसी के रूप में काम करने का मौका मिल रहा. ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति देने में सखी मंडल की माहिलाओं की भूमिका अहम होने जा रही है। ग्रामीणों को बैंकिंग से जुड़ी तकनीक की जानकारी देने एवं जागरूक करने के लिए झारखंड सरकार ने ये पहल की है. समूह के सदस्य, जो बैंक सखी का काम कर चुकी हैं और जिनके पास स्नातक की डिग्री होने के अलावा स्थानीय भाषा में पढ़ना, लिखना, बोलना और समझना आता हो। इन महिलाओं का चयन एफएलसीसी के लिए लिखित परीक्षा और साक्षात्कार के आधार पर होता है। झारखंड के 12 अलग-अलग जिलों में कुल 12 एफएलसीसी कार्यरत हैं। इस विधि से वहीं ग्रामीणों को भी बैंकिंग सेवाओं का लाभ लेना आसान हुआ है। झारखंड राज्य ग्रामीण बैंक, खूंटी के मुख्य प्रबंधक एके प्रसाद ने बताया कि एसएचजी सदस्यों की स्थानीय भाषा में अच्छी पकड़ है, जो लोगों को विभिन्न वित्तीय सेवा को समझाने में मदद करती हैं। एफएलसीसी के रूप में एसएचजी सदस्य ग्रामीणों को लाभान्वित कर रही हैं।